Guru Ayurveda

रविवार, 11 अप्रैल 2021

मधुमेह Diabetes का आयुर्वेदिक इलाज।

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#मधुमेह Diabetes का आयुर्वेदिक ईलाज।

#डा० वीरेंद्र मढान

#गुरू आयुर्वेद 

#Diabetes क्या है?

#शुगर रोग मे क्या खायें क्या न खाये ?

#शुगर का आयुर्वेदिक इलाज

#शुगर के घरेलू उपाय?

Diabetes के कारण ःः-

*भोगविलासी जीवन. * life style का खराब होना। *बीना मौसमी खाना। *काम न करना ।* निट्ठल्ले रहना।*पहला भोजन पचने से पहले ही दुबारा भोजन करना। *मिठाई,तली भुना अधिक खाना। *चटोरापन। *वसायुक्त तैलीय भोजन करना।**कोल्डड्रिंक नमकीन, *चाट-पकौड़े आदि ये सब मधुमेह जनक है।
सबसे पहले इन्हें त्यागना होगा।
""परहेज नही तो ईलाज नही""
**ठंडे पानी से, बारिश मे अधिक देर तक भीगना भी निषेध होता है। 
** दिन में सोना तथा रात में जागरण करना भी रोग जनक होता है।
**ध्यान रखें--कफ बर्ध्दक पदार्थ प्रमेह बर्ध्दक होते है।

प्रमेह Diabetes की आयुर्वेदिक चिकित्सा:-

सबसे पहले-

सरसौ के तैल से

नीम के तैल से

दन्ती के तैल से

बहेड़ा के बीज के तैल से

करंज के तैल से या

त्रिकंण्टकादि तैल से दोषानुसार औषधि द्रव्यों के योगो से तैयार स्नेह से( तैल से) स्निग्ध करा कर रोगी को वमन विरेचन कराये।

इसके बाद..

नागरमोथा, देवदारु , सौठ इनका कल्क तथा सुरसादिगण का क्वाथ मिला कर रोगी को निरूहण वस्तिकर्म करें।

यदि पित्तदोष की आधिकता हो तो न्यग्रोधादि गण के क्वाथ से निरुहवस्ति दे। फिर जांगम देश के पक्षियों के मांस रस से तृप्त करे।

जो रोगी वमन विरेचन के योग्य नही हो न करें।

सभी प्रकार के रोगीयों को दोष शमन औषधियों का प्रयोग कराए ।

शमन योग :-

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प्रतिदिनप्रातः काल: मे मात्रानुसार मधु के साथ हल्दी चाटें उसके बाद आँवला रस पीऐ।  या 

हल्दी -मधु-आँँवलों का रस सब एक जगह धोलकर पी जायें।   या

दारुहल्दी, आंवला, देवदारू, हरड, बेहडा, तथा नागरमोथा का क्वाथ बना कर पीऐ।  अथवा

चित्रकमूल, हरड, बेहडा, आंवला, दारुहल्दी, इन्द्रयव के क्वाथ मे मधु मिला कर पी ले। अथवा

गरूच के स्वरस मे मधु मिलाकर पी ले। अथवा

गुरु आंवला रस मे मधु मिला कर पी ले।

इस प्रकार ये पांच प्रमेह शमन योग हैं।